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उत्तरायणी कौथिग : उत्तराखंडी गीतों पर झूमें लोग, समापन समारोह में शामिल होंगे सीएम योगी

लखनऊ। उत्तरायणी कौथिग 2023 के नवें दिन रविवार को सायंकालीन सत्र में बतौर मुख्य अतिथि मौजूद बीबीडी के चेयरमैन विराज दास गुप्ता ने दीप प्रज्जवलित कर कार्यक्रम का विधिवत उद्घाटन किया। आयोजन समिति के मुख्य संयोजक टीएस मनराल, संयोजक केएन चन्दोला, अध्यक्ष गणेश चन्द्र जोशी व महासचिव महेन्द्र सिह रावत ने पुष्प गुच्छ एवं स्मृति चिन्ह भेंट कर उनका स्वागत किया। विराजदास गुप्ता ने कहाकि हमारा परिवार शुरू से उत्तराखण्ड से भी जुडा हुआ है, मुझे उत्तराखण्ड की संस्कृति बहुत पंसद है। बीबीडी गुप अगले वर्ष से पूर्ण रूप से उत्तरायणी में सहयोग प्रदान करेगा।

सायंकालीन सत्र के सांस्कृतिक स्टार नाइटस में उत्तराखण्ड से आये लोकगायक प्रहलाद सिह मेहरा की एकल प्रस्तुति ऐजा मेरा दानपूरा... पर दर्शक झूम उठे। वहीं लोकगायक ललित मोहन जोशी, नीरज चुफाल एवं राकेश खववाल की एकल प्रस्तुतियां हुई। इस मौके पर उत्तराखण्ड राज्य आन्दोलनकारी प्रकाश जोशी, जनकवि जर्नादन उप्रेती, हयात तड़ागी, नवीन भटट (लोक गायक), यशवंत महर (पत्रकार) एवं पंकज पुनेठा सहित कई गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे। 
मीडिया प्रभारी हेमंत सिंह गड़िया ने बताया कि सोमवार को समापन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मौजूद रहेंगे। वह दिवंगत सीडीएस जनरल विपिन रावत के परिजनों को पर्वतीय महापरिषद द्वारा इस वर्ष का वीर चन्द्र सिह गढवाली वीरता सम्मान प्रदान करेंगे।
प्रातःकालीन सत्र में इन्दिरा नगर महापरिषद शाखा -2 से दीपा पाण्डेय के नेतृत्व में झोडे की शानदार प्रस्तुति के साथ ही क्षेत्र के नन्हें कलाकारों निशा, दीक्षा, मनसा, ज्योति, हर्षिता, रितु, कलकी, वर्षा एवं मास्टर सौरभ ने मनभावन प्रस्तुति से धमाल मचाया। माया बिष्ट ने एकल नृत्य की प्रस्तुति दी। कल्याणपुर वसुधंरा पुरम से सुशीला नेगी के नेतृत्व में कलाकारों ने "झोड़ा बागेश्वर की रण हिमा..." पर प्रस्तुति दी। अपनी बोली भाषा एवं संस्कार समर्पित कार्यक्रम के अर्न्तगत झूमिगों छपेली नृत्य प्रतियोगिता में प्रथम स्थान गोमती नगर, द्वितीय जौहार सांस्कृतिक संगठन एवं तृतीय स्थान इन्दिरा नगर को मिला।
संस्कृति विभाग लखनऊ द्वारा हितेश भारद्वाज व साथी साजन भारद्वाज, केएल शाह, हारमोनियम पर प्रशांत त्रिपाठी, तबला पर दिवाकर अग्रहरी ने चांदी जैसा रंग तेरा... जैसे कई हिन्दीं गानों पर प्रस्तुति दी।
उत्तरायणी कौथिग मेहन्दी प्रतियोगिता में प्रथम स्थान सुनिता बिष्ट, द्वितीय लक्ष्मी कश्यप, तृतीय स्थान भूमि डोबरियाल और सांत्वना मानवी जोशी को दिया गया। निर्णायक भूमिका में मेनका श्रीवास्तव व अन्जू मिश्रा रही। चित्रकला प्रतियोगिता में 7 से 9 वर्ष आयु वर्ग में प्रथम आराध्या पांगती, द्वितीय शौर्य बिष्ट, तृतीय जानवी जंगपांगी एवं सांत्वना काव्या तिवारी और 10 से 16 आयु वर्ग में प्रथम ओजस्वी, द्वितीय गौरी सिह, तृतीय प्रतिष्ठा सिह एवं सांत्वना रूपांशी बृजवाल रहीं। निर्णायक मंडल में नरेन्द्र सिह बिष्ट, देवेन्द्र मिश्रा एवं राजेश भट्ट रहे। दिन के कार्यक्रमों का संचालन गोविन्द बोरा व राजेश भट्ट ने किया।



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